ॐ सांई राम

कल हमने पढ़ा था.. कुश्ती के बाद बाबा में बदलाव
श्री साईं लीलाएं
जब जौहर अली बाबा जी के चेले बने
श्री साईं लीलाएं
जब जौहर अली बाबा जी के चेले बने
साईं बाबा और मोहिद्दीन की कुश्ती के कुछ वर्षों के बाद जौहर अली नाम का एक मुस्लिम फकीर रहाता में अपने शिष्यों के साथ रहने आया| वह हनुमान मंदिर के पास एक मकान में डेरा जमाकर रहने लगा| वह अहमदनगर का रहने वाला था| जौहर अली बड़ा विद्वान था| कुरान शरीफ की आयातें उसे मुंहजुबानी याद थीं| मीठी बोली उसकी अन्य विशेषता थी| धीरे-धीरे रहाता के श्रद्धालु जन उससे प्रभावित होकर उसके पास आने लगे| उसके पास आने वाला व्यक्ति उसका बड़ा सम्मान करता था| पूरे रहाता में उसकी वाहवाही होने लगी थी| धीरे-धीरे उसने रहाता के लोगों का विश्वास प्राप्त कर बहुत सारी आर्थिक मदद भी हासिल कर ली थी|